लॉकडाउन: स्कूटी से 1400 KM का सफर एक ‘मां’ की इच्छाशक्ति के आगे ‘नतमस्तक’

फोकस भारत। देश में कोरोना के कहर की वजह से लॉकडाउन है ऐसे में तेलंगाना से एक ऐसी खबर सामने आ रही है, जिसने सभी को हैरान कर दिया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक लॉकडाउन में फंसे अपने बेटे को लेने एक मां ने स्कूटी से 1400 किलोमीटर का सफर तय किया और उसे घर लेकर आई। दरअसल 48 साल की महिला रजिया बेगम सोमवार सुबह स्थानीय पुलिस की परमिशन लेने के बाद स्कूटी से अकेले आंध्र प्रदेश के नेल्लोर के लिए निकली थीं।

रजिया बेगम हैदराबाद से करीब 200 किलोमीटर दूर निजामाबाद के एक सरकारी स्कूल में काम करती हैं। 15 साल पहले उनके पति की मौत हो गई थी। उनके दो बेटे हैं। बड़ा बेटा इंजीनियरिंग ग्रेजुएट है और दूसरा बेटा 19 साल का निजामुद्दीन पढ़ाई कर रहा है और वह डॉक्टर बनना चाहता है। निजामुद्दीन ने 12वीं की परीक्षा पास कर ली है और वो एमबीबीएस एंट्रेस के लिए कोचिंग कर रहा है। निजामुद्दीन अपने कुछ दोस्तों को छोड़ने रहमताबाद गया था, तभी लॉकडाउन होने के कारण वहां फंस गया। इस बीच रजिया बेगम ने फैसला किया कि वो स्कूटी से 1400 किलोमिटर का सफर तय करके रहमताबाद जाएंगी और अपने बेटे को वापस लाएंगी। 6 अप्रैल की सुबह रजिया घर से निकलीं और लगातार स्कूटी चलाते हुए वह अगले दिन दोपहर में रहमताबाद के नेल्लोर पहुंचीं। बेटे को साथ लेकर वह वहां से निकलीं और बुधवार शाम अपने घर आ गईं।

रजिया बेगम ने बताया कि एक महिला के लिए टू-व्हीलर का ये सफर आसान नहीं था, लेकिन बेटे को वापस लाने की मेरी इच्छाशक्ति के आगे ये डर भी गायब हो गया। मैंने रोटी पैक की और निकल पड़ी। रात में कोई ट्रैफिक नहीं, सड़क पर कोई लोग नहीं, ये डराता जरूर था, लेकिन मैं आगे बढ़ती गई।

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